Sunday, November 6, 2022

ये जो जिंदगी की किताब हैं

ये जो जिंदगी की किताब हैं 
ये किताब भी क्या किताब हैं

कहीं एक हसीन ख़्वाब हैं 
कहीं जान लेवा अजब हैं...
कभी खो लिया, 
कभी पा लिया 
कभी रो लिया, 
कभी गा लिया....
कहीं हैं बारिशें
कहीं सुखा बेहिसाब हैं....
कहीं छांव हैं, 
कहीं धूप हैं 
कही और ही कोई रूप हैं...
कहीं छीन लेती हैं हर खुशी 
कहीं मेहरबान बे हिसाब हैं....
ये जो जिंदगी की किताब हैं
 ये किताब भी क्या किताब हैं....

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